छत्तीसगढ़

महाविद्यालय की सरकारी जमीन बिल्डर को आबंटित, ग्रामीण कल देंगे केनाल रोड में धरना

रायपुर

अमलीडीह में शासकीय नवीन महाविद्यालय के लिए आरक्षित करीब 9 एकड़ सरकारी जमीन को रामा बिल्डकॉन  को आबंटित कर दी गई। यह पूरी प्रक्रिया गुपचुप तरीके से हुई है और अब जमीन आबंटन की जानकारी मिलने पर ग्रामीणों ने मोर्चा खोल दिया है। उन्होंने तत्काल आबंटन निरस्त करने के लिए मुख्यमंत्री को ज्ञापन भी सौंपा है लेकिन अभी तक जमीन का आबंटन निरस्त नहीं किया गया है। अब ग्रामीण हमर माटी हमर भुईयां रक्षा समिति अमलीडीह के बैनर तले सांकेतिक रुप से मंगलवार को अमलीडीह स्थित केनाल रोड में एक दिवसीय धरना-प्रदर्शन करते हुए अपना विरोध जताएंगे।

कुर्मी समाज के लीलाधर चंद्राकर, हरदिहा साहू समाज के अध्यक्ष मन्ना राम साहू, सतनामी समाज के मंगलदास कोसरिया, यादव समाज के कन्हैया यादव, सेन समाज के देव कुमार जैन, छत्तीसगढ़ क्रांतिसेना के धीरेंद्र साहू ने संयुक्त पत्रकारवार्ता में बताया कि रायपुर नगर निगम सीमा के गांव अमलीडीह में 3.203 हेक्टेयर यानी करीब 9 एकड़ जमीन शासकीय नवीन महाविद्यालय के लिए आरक्षित की गई थी। कॉलेज अभी स्कूल बिल्डिंग में संचालित है। पिछली सरकार में रायपुर ग्रामीण के विधायक सत्यनारायण शर्मा ने कॉलेज जमीन के लिए सरकारी जमीन आरक्षित कराई थी। इस जमीन पर बिल्डरों की भी नजर रही है और एक बड़े बिल्डर रामा बिल्डकॉन के संचालक राजेश अग्रवाल ने उस समय आरक्षित जमीन के आबंटन के लिए आवेदन किया था। न सिर्फ रामा बिल्डकॉन बल्कि इस्कॉन मंदिर ट्रस्ट ने भी उक्त जमीन के लिए आवेदन किया था। पिछली सरकार में सरकारी जमीन की नीलामी की नीति रही है। चूंकि कॉलेज बिल्डिंग-खेल मैदान के लिए आरक्षित होने की वजह से बिल्डर के आवेदन पर कोई कार्रवाई नहीं की गई।

बताया गया कि सरकार बदलने के बाद प्रभावशाली लोगों ने बिल्डर को उक्त जमीन को आबंटित करने के लिए पहल की। इसके बाद इसका तोड़ निकालते हुए रामा बिल्डकॉन के पुराने आवेदन पर कार्रवाई करते हुए उन्हें आबंटित कर दी। यह आबंटन 28 जून को राजस्व विभाग ने किया है। खास बात यह है कि सब कुछ आबंटन पिछली सरकार की नीति के मुताबिक किया गया। सरकार बदलने के बाद सरकारी जमीन के आबंटन, और फ्रीहोल्ड संबंधी सभी निदेर्शों को 11 जुलाई को निरस्त कर दिया गया। चर्चा है कि जमीन का आबंटन आदेश जारी होने से पहले बैक डेट में किया गया। कॉलेज की जमीन बिल्डर को आबंटित होने की खबर अब जाकर ग्रामीणों को हुई है, और इसके खिलाफ मोर्चा खोल दिया है।

पत्रकारों से चर्चा करते हुए लीलाधर ने बताया कि गांव में यही एक सरकारी जमीन बची थी जिस पर कॉलेज का निर्माण होना था। पिछली सरकार में विधायक सत्यनारायण शर्मा ने अस्पताल निर्माण के लिए राशि भी स्वीकृत कराई थी लेकिन सरकारी जमीन उपलब्ध नहीं हो पाने के कारण आगे कोई कार्रवाई नहीं हो पाई। अब सरकारी जमीन को आबंटित करने के खिलाफ ग्रामीणों ने सडक की लड़ाई लडने का ऐलान किया है। ग्रामीणों ने इस सिलसिले में मुख्यमंत्री, राजस्व मंत्रीऔर स्थानीय विधायक मोतीलाल साहू को ज्ञापन भी भेजा है। मुख्यमंत्री ने उन्हें आश्वासन भी दिया था कि इस मामले का जल्द ही पटाक्षेप हो जाएगा लेकिन अभी तक हुआ है। कल वे एक दिवसीय धरना-प्रदर्शन करते हुए अपना विरोध जताएंगे और सरकार से मांग करेंगे कि यहां पर शासकीय नवीन कॉलेज का निर्माण जल्द से जल्द शुरू हो सकें।

Z

?s=32&d=mystery&r=g&forcedefault=1
News Desk

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button